Three-day training on wildlife crime control concluded in Achanakmar Tiger Reserve..
वन्यजीव संरक्षण और अपराध रोकथाम के लिए मैदानी कर्मचारियों को दिया गया विशेष प्रशिक्षण..
बिलासपुर। अचानकमार टाईगर रिजर्व, 04 मार्च 2025। वन्यजीव अपराधों पर अंकुश लगाने और वन्यप्राणियों के संरक्षण को लेकर जागरूकता बढ़ाने के उद्देश्य से अचानकमार टाइगर रिजर्व में तीन दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम आयोजित किया गया। यह प्रशिक्षण 01 मार्च से 03 मार्च 2025 तक वाइल्डलाइफ ट्रस्ट ऑफ इंडिया (WTI) और वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित किया गया। इस दौरान मैदानी कर्मचारियों को वन्यजीव अपराधों की रोकथाम, जांच प्रक्रिया और न्यायालय में प्रस्तुतीकरण से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारियां दी गईं।
प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन अचानकमार टाइगर रिजर्व के फील्ड डायरेक्टर मनोज पाण्डेय (भा.व.से.) और उप निदेशक यू.आर. गणेश (भा.व.से.) के नेतृत्व में किया गया। इसमें कोर और बफर जोन के सहायक संचालक, वन परिक्षेत्र अधिकारी और 45 वन अमला कर्मचारियों ने भाग लिया। प्रशिक्षण के दौरान WTI के क्षेत्रीय प्रमुख डॉ. आ.पी. मिश्र, एडवोकेट यश कुमार सोनी, मोनेश सिंह तोमर और रूद्रा प्रसन्ना महापात्रा ने विशेषज्ञ के तौर पर अपना योगदान दिया।
प्रशिक्षण के पहले दिन वन्यजीव संरक्षण की अवधारणा, वन्यजीव अपराधों की जानकारी और वन्यप्राणी (संरक्षण) अधिनियम, 1972 के तहत अपराधियों द्वारा अपनाए जाने वाले तरीकों पर चर्चा की गई। दूसरे दिन वन्यप्राणी अपराधों की फॉरेंसिक जांच और मैदानी स्तर पर जांच प्रक्रिया पर प्रशिक्षण दिया गया। तीसरे दिन वन्यजीव अपराधों के दस्तावेजीकरण और न्यायालय में प्रस्तुतीकरण की बारीकियों को समझाया गया।
प्रशिक्षण के अंतिम दिन सभी कर्मचारियों को WTI द्वारा उपलब्ध कराए गए सुरक्षा उपकरण जैसे टॉर्च, रेनकोट, वाटरप्रूफ बैग, विंटर जैकेट, थर्मस वाटर बॉटल, कैप और वन्यप्राणी (संरक्षण) अधिनियम, 1972 की नियमावली पुस्तक वितरित की गई। साथ ही, प्रशिक्षण प्रमाण पत्र भी दिए गए।
इस प्रशिक्षण से अचानकमार टाईगर रिजर्व के मैदानी कर्मचारियों को वन्यजीव अपराधों की रोकथाम और जांच प्रक्रिया में मदद मिलेगी, जिससे वन्यजीव संरक्षण के प्रयासों को नई गति मिलेगी।

